26 मई ‘विश्व के प्रथम प्रखर मनोचिकित्सक और मनोवैज्ञानिक थे तथागत बुद्ध। – बहुजन इंडिया 24 न्यूज

26 मई ‘विश्व के प्रथम प्रखर मनोचिकित्सक और मनोवैज्ञानिक थे तथागत बुद्ध।

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बहुजन इंडिया 24 न्यूज़ व बहुजन प्रेरणा दैनिक हिंदी समाचार पत्र (सम्पदक मुकेश कुमार भारती -9161507983 )
गोंडा (राम बहादुर मौर्य ) जिला ब्यूरो चीफ


26 मई ‘विश्व के प्रथम प्रखर मनोचिकित्सक और मनोवैज्ञानिक थे तथागत बुद्ध।

26 मई ‘विश्व के प्रथम प्रखर मनोचिकित्सक और मनोवैज्ञानिक थे तथागत बुद्ध। बुद्ध का दर्शन अनुभव,अनुभूति और तर्क पर आधारित है। अंधविश्वास,आडम्बर व रूढ़िवादी परम्पराओं से बिल्कुल अलग विशुद्ध ज्ञान विज्ञान पर आधारित क्रांति के यथार्थ द्रष्टा हैं बुद्ध। विश्व की दुखी मानवता को दुखमुक्त करने के लिए ‘विपस्सना’ प्राणायाम पद्धति से कोरोना जैसी महामारी को रोकने में पूर्ण सक्षम है। बुद्ध ने विपस्सना प्राणायाम द्वारा जनता के गम्भीर मनोरोगों व काय-क्लेशों को ठीक किया था। सभी सुखों और दुखों का कारण आहार-विहार को बुद्ध ने बताया था। तथागत बुद्ध का अष्टांगिक मार्ग दुखमुक्त करने का सर्वोत्तम मार्ग है। सम्पूर्ण विश्व में बुद्ध का धम्म सभी धर्मो से सुपर से भी ऊपर इसलिए है क्योंकि इसमें ही केवल ‘कालाम सुत्त ‘की बात बताई गई है जो यह बताता है कि चाहे मोटी किताब या पवित्र ग्रंथ में लिखा हो या बहुत बड़े ज्ञानी ने कहा है या बहुत से लोग मानते हैं या सदियों से परम्परागत है इसलिए वह मान्य नहीं है। उसके मानने का आधार तर्क-विज्ञान पर खरा है,मानव के लिए कल्याणकारी है तब पहले जानो फिर छानो तब मानो और जब तक जानो नहीं तब तक मानो नहीं। ‘उक्त विचार तथागत बुद्ध के 2565वीं जयंती पर गोंडा में पटेल नगर स्थित केन्द्रीय कार्यालय पर मास संदेश के सम्पादक ए.के.नंद ने व्यक्त किया। डॉ.माला शर्मा ने कहा बुद्ध का धम्म मानव कल्याण में पूर्णतया सक्षम है। उर्मिला बौद्ध ने कहा कि नारी सशक्तिकरण का बेमिसाल उदाहरण बौद्ध दर्शन में मिलता है जब भगवान बुद्ध ने नारी को भी भिक्खुणी संघ बनाकर पुरूष की प्रधानता समाप्त किया। सोनी नंद ने कहा कि बुद्ध विश्व के प्रथम दार्शनिक हैं और अर्थशास्त्री भी हैं। गुंजन नंद ने कहा कि मानव मूल्यों की रक्षा का संकल्प तथागत बुद्ध ने बताया था। छोटेलाल मिशन गायक ने गीतों के माध्यम से बुद्ध के व्यक्तित्व पर प्रकाश डाला। अनुपम कुमार नंद ने कहा कि हमें सीलों को अपने जीवन में उतारना चाहिए। गौरव कुमार ने कहा कि बुद्ध की सोच थी कि जीवन वीणा की तरह है अत्यधिक कसो तो टूट जायेगे और ढीला छोड दें तो संगीत ही नहीं पैदा होगा। कार्यक्रम का संचालन अवधेश कुमार वर्मा ने किया और संचालन सी.एल.गौतग ने किया। सहभाग करने वालों में कृपाशंकर,विजय सिंह,अर्जुन सिंह यादव,हरिप्रसाद दिनकर,राम फेरन,महादेव पटेल,राम कुमार सिंह चौहान,राम चंद्र दिवाकर,नीलम,किरन,रीना,निर्मला,मीना मौर्य,दशरथ प्रसाद मौर्य,राम यश,राम कुमार,हनुमान,चिंता राम आदि लोगों ने कोरोना के नियमों का पालन करते हुए सभी सेनटाइजर करके शारीरिक दूरी के साथ किया।


राम बहादुर मौर्य बहुजन प्रेरणा दैनिक हिंदी समाचार पत्र जिला ब्यूरो चीफ गोंडा।
संपर्क नंबर 9616791345

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